Monday 22 July 2024

हुंकार

हम कबसे अपनी आँखों में अंगार दबाये बैठे हैं 
हम चुप हैं इसका मतलब है हुंकार छुपाये बैठे हैं

तुम जुल्म हमारे ऊपर कर के पलभर ना घबराते हो 
ये अहंकार ऐसा भी क्या तुम इतना क्यों इतराते हो 

ये वक़्त का पहिया घूम रहा दरकार लगाये बैठे हैं
हम चुप हैं इसका मतलब है हुंकार छुपाये बैठे हैं

वो कपटी लोग फरेबी हैं तुम जिनको गले लगाते हो 
वो झाँसा देते रहते हैं तुम झाँसे में आ जाते हो

क्यों आस्तीन में छुपकर वो अधिकार जमाये बैठे हैं
हम चुप हैं इसका मतलब है हुंकार छुपाये बैठे हैं

खुद को भला समझते क्या हो ये तो जरा बताओ तुम 
हिम्मत है तो चाँद पकड़कर इस धरती पर लाओ तुम 

क्यों चाटुकार से भरा हुआ दरबार सजाये बैठे हैं
हम चुप हैं इसका मतलब है हुंकार छुपाये बैठे हैं

No comments:

Post a Comment